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हिंदी की उपयोगिता दर्शाती पुस्तक 'हिंदी का विश्व संदर्भ' का लोकार्पण

उत्तर प्रदेश विधान सभा चुनाव और मुंबई मनपा चुनाव के मद्देनजर शुक्रवार को भाजपा द्वारा आयोजित 'मुख्यमंत्री का उत्तर भारतीय समाज के साथ संवाद’ कार्यक्रम के दौरान शैक्षणिक कार्यक्रम के अन्तर्गत मुंबई विश्व विद्यालय के हिंदी विभाग के वरिष्ठ प्राध्यापक डॉ. करुणाशंकर उपाध्याय के १६वें ग्रंथ 'हिंदी का विश्व संदर्भ' का लोकार्पण किया गया।  

गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश विधान सभा चुनाव और २०१७ में होने वाले मुंबई मनपा चुनाव के मद्देनजर इस कार्यक्रम का आयोजन मुंबई भाजपा की ओर से बाम्बे एक्जिबिशन सेन्टर, गोरेगांव, मुंबई में किया गया था । इस कार्यक्रम में 'बाटी-चोखा' का कार्यक्रम भी सम्मिलित किया गया था।  इस कार्यक्रम का उद्देश्य उत्तर भारतीयों से मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस का सीधे संवाद स्थापित करना था। इसी कार्यक्रम के दौरान शैक्षणिक कार्यक्रम के अन्तर्गत मुंबई विश्व विद्यालय के हिंदी विभाग के वरिष्ठ प्राध्यापक डॉ .करुणाशंकर उपाध्याय के 16वें ग्रंथ 'हिंदी का विश्व संदर्भ' का लोकार्पण भी किया गया। इस अवसर पर महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेन्द्र फणनवीस के साथ ही मुम्बई भाजपा के अध्यक्ष विधायक आशीष शेलार, महाराष्ट्र की राज्य मंत्री श्रीमती विद्या ठाकुर, विधायक मंगल प्रभात लोढ़ा, सांसद हरिवंश सिंह, गोपाल शेट्टी, आर.यू.सिंह, प्रेम शुक्ल आदि उपस्थित थे।

राधाकृष्ण प्रकाशन, नई दिल्ली से प्रकाशित इस ग्रन्थ के लेखक डॉ. करुणाशंकर उपाध्याय ने बातचीत के दौरान अपनी पुस्तक के सन्दर्भ में जानकारी देते हुए बताया कि आज हिंदी विश्व के सबसे सक्षम मानव-संसाधन की अभिव्यक्ति का माध्यम बन गई है। वह विश्वभर में फ़ैल रहे पेशेवर भारतीयों के द्वारा सभी महाद्वीपों तथा महत्वपूर्ण देशों में अपनी उपस्थिति दर्ज करा रही है। भारत-वर्ष की निरंतर विकासमान राजनीतिक और आर्थिक हैसियत उसे वैश्विक व्याप्ति प्रदान कर रही है।  फलतः वैश्विक शक्तियां तथा बहुराष्ट्रीय निगम उसके प्रति रुझान महसूस कर रहे हैं।  यहाँ तक कि स्वयं गूगल का सर्वेक्षण सिद्ध कर रहा है कि विगत एक वर्ष में सोशल मीडिया पर हिंदी में प्रस्तुत होनेवाली सामग्री में ९१ प्रतिशत बढ़ोत्तरी हुई है।  आज हिंदी ने डिजिटल दुनिया में अंग्रेजी  एकाधिकार को जिस तरह चुनौती दी है वह आश्चर्यजनक है।


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